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हमारे गाँवों के जीवन, रहन-सहन, बचपन के खेलों व गाँव में बितायी जिंदगी के अनुभवों पर हिन्दी कविता

Hindi Kavita on Life of Village | गाँव के जीवन पर रोचक कविता

मेरा गाँव बिल्कुल नही है शहरों जैसा,

मेरा गाँव बिल्कुल नही है अब पहले जैसा,


सड़को पर चलती थी,

कुछ ही मोटर गाड़ी,

आवाज से ही पहचान लेते थे,

आ रही है किसकी गाड़ी।


स्कूल दूर थे,

पर परवाह किसको थी,

घर लौटते वक्त तो,

पल्क छपकते ही खाने की रसोई में होते।


बात इतनें में कहाँ रूकती है, मेरे गाँव की

सुरख मिट्टी जब पूरे बदन पर लिपट जाती,

शाम ढल कर रात बन जाती,

खेल तब तक जाते थे खेले।

ऐसा था मेरा गाँव।


मंगरो से पानी लाना,

और आधे-अधूरे मन से राहगीरो को पिलाना,

घर पहुँच कर आधे भरे डब्बो को चुपके से सरका देना,

जहाँ होता था ये सब, वह हे मेरा गाँव।


रास्ते पक्के थे, कच्चे थे,

कुछ उच्चे, कुछ नीचे थे,

किसको फर्क पड़ता था,

हमको तब बचपन के पंख लगे थे।


वह कौन सा खेत, कौन सा चौक रहा होगा,

जिसको छोड़ा हो हमारे अतरंगे खेल खिलौनों ने,

लाखो बातें सुनकर, सब कुछ अपने में समेट लेना,

जहाँ मन में नही था कोई बैर, वह हे मेरा गाँव।


शाखों पर कोपल आते,

और फिर फूलो से लदी हरी शाखाएँ लहराती,

बारिस होती, और अगले दिन तक पत्ते टिप-टिप पानी बरसाते,

और फिर पत्ते नीचे गिर मिट्टी बन जातें,

जहाँ दिख जाती थी,  सारी ऋतुएँ

वह हे मेरा गाँव।


जीवन मानों प्रकृति की देन थी,

हम सबको इसका एहसास भी था,

जहाँ हर बात का जुदा अंदाज था, 

वही तो मेरा गाँव था.

वही तो मेरा गाँव था।

Hindi Poem on Life of Indian Village, गाँव की जिंदगी पर कविता


गाँव में जीवन बिताना एक बहुत ही खास अनुभव होता है, गााँव में जीवन शहरो की भाग-दौड़ से बहुत दूर व नेचर के बहुत पास होता हैं। ऐसे ही अनुभवों को समेटें यह कविता यदि आपको पसंद आती है, तो कमेंट बॉक्स में ्अपने विचार जरुर शेयर करे।


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1. Hindi Poetry on Life of Child Labor

2. Hindi Poetry on Life of Farmer

जिंदगी पर कविता - जीवन के संर्घषो, अनुभवओं, प्रेम, ईष्या, कार्यों, जीत-हार पर लिखी बेहतरीन कविताएँ


हमारी जिंदगी से जुड़े अनुभवो व अहसासो से आपके लिए यह बेहतरीन Hindi Poetry On Life लिखी गई हैं। संर्घषो से भरे जीवन की कहानी ही हमको प्रेरणा देती है, इसलिए यह सभी हिन्दी कविताएँ आपको बहुत पसंद आयेंगी।


1. Kavita on Life of Child Labor | बाल मजदूर की जिंदगी के संर्घष पर कविता

अकल कुछ ही तो आयी थी,

समझ अब भी ना आयी थी,

मैं जाता था काम करने क्यों,

जब उम्र थी पढाई की।


घर में माँ-बाबा भी रहते थे,

कहने को मैं सबसे छोटा था,

ये ऐसी कैसी बस्ती थी,

जहाँ बचपन नहीं आता था।


काम करना और घर आना,

ये भी कहाँ नसीब होता,

न जाने कब नशे से दोस्ती कर ली,

न जाने कब जिंदगी से दुश्मनी कर ली।


मैं नहीं चाहता था ये सब कुछ हो,

पर मेरी कौन सुनता था,

करता तो मेहनत था,

पर क्या ये मेरी उम्र थी काम करने की?


न किसी से बालपन रूठे,

न किसी से शिक्षा का अधिकार छूटे,

ऐसा हर कोई कहता है,

पर क्या ये सच में होता है?


Hindi Poem On Life, Hindi Poetry on Life

2. Hindi Me Kavita on Life of Farmer | किसान की जिंदगी पर हिन्दी कविता

खुशहाली देश में लाता है,

हरियाली खेतों में लाता है,

फिर न जानें क्या होता है,

एक किसान जिंदगी की जंग हार जाता है।


मेहनत से जो नहीं डरता,

प्रकृति के संग जो जीता,

उम्मीद करने में क्या बुरायी है,

कि एक दिन मेहनत रंग लायेगी।


फिर जब फसल बेचने का दिन आता,

वो खिलोना मंडी का बन जाता,

इधर जाता उधर जाता,

और मजबूरी में घाटे का सौदा कर आता।


घर उसको भी चलाना है,

बच्चों को भी पढाना है,

सामाजिक जिम्मेदारी,

सौ जगहों पर जाना है।


महंगाई की मार पडती है,

मेरा भाई टूट जाता है,

जरूरत पूरी करने को,

साहूकार के जाल में फँस ही जाता है।


जिंदगी में पहले ही मुस्किल थी,

ये ॠण उसको खूब सताता है,

फिर एक दिन ऐसा आता है,

ये धरती का लाडला हार जाता है।


3. Best Hindi Poem on Life of Labour |  हिन्दी कविता श्रमिक जीवन पर

सपनों को आकर जो देता,

देश को विकास जो देता,

बोझ कन्धों पर रहे हमेशा,

पर कर्म करने से कभी न डरता।


जिंदगी मुश्किल भले हो,

कभी न रुकता, कभी न झुकता,

जरूरतें चाहे हो जितनी,

अपनी मेहनत से सपनों को साकार है करता।


बेहरूपी को इनाम मिले यहाँ,

मेहनत को सम्मान नहीं,

इज्जत उसको मिलती है

जिनके कपड़ों की सान बड़ी।


सर्दी, गर्मी, या हो बारिस,

मुझको हर ऋतु एक सी है,

काम पर ना जो एक दिन जाता,

उस दिन का पगार नहीं।


बढता हूँ, लड़ता हूँ खुद से,

संघर्ष भरा ये जीवन है।

कहने को सब काम में करता,

सम्मान भरे शब्दों से वंचित रहता हूँ।

4. Hindi Poetry on Life of Indian Village | गाँव के जीवन पर रोचक कविता

मेरा गाँव बिल्कुल नही है शहरों जैसा,

मेरा गाँव बिल्कुल नही है अब पहले जैसा,


सड़को पर चलती थी,

कुछ ही मोटर गाड़ी,

आवाज से ही पहचान लेते थे,

आ रही है किसकी गाड़ी।


स्कूल दूर थे,

पर परवाह किसको थी,

घर लौटते वक्त तो,

पल्क छपकते ही खाने की रसोई में होते।


बात इतनें में कहाँ रूकती है, मेरे गाँव की

सुरख मिट्टी जब पूरे बदन पर लिपट जाती,

शाम ढल कर रात बन जाती,

खेल तब तक जाते थे खेले।

ऐसा था मेरा गाँव।


मंगरो से पानी लाना,

और आधे-अधूरे मन से राहगीरो को पिलाना,

घर पहुँच कर आधे भरे डब्बो को चुपके से सरका देना,

जहाँ होता था ये सब, वह हे मेरा गाँव।


रास्ते पक्के थे, कच्चे थे,

कुछ उच्चे, कुछ नीचे थे,

किसको फर्क पड़ता था,

हमको तब बचपन के पंख लगे थे।


वह कौन सा खेत, कौन सा चौक रहा होगा,

जिसको छोड़ा हो हमारे अतरंगे खेल खिलौनों ने,

लाखो बातें सुनकर, सब कुछ अपने में समेट लेना,

जहाँ मन में नही था कोई बैर, वह हे मेरा गाँव।


शाखों पर कोपल आते,

और फिर फूलो से लदी हरी शाखाएँ लहराती,

बारिस होती, और अगले दिन तक पत्ते टिप-टिप पानी बरसाते,

और फिर पत्ते नीचे गिर मिट्टी बन जातें,

जहाँ दिख जाती थी,  सारी ऋतुएँ

वह हे मेरा गाँव।


जीवन मानों प्रकृति की देन थी,

हम सबको इसका एहसास भी था,

जहाँ हर बात का जुदा अंदाज था, 

वही तो मेरा गाँव था.

वही तो मेरा गाँव था।

Hindi Poem on Life, जिंदगी पर कविता




एक मेहनती मजदूर के जीवन के संघर्षों, सपनों, व परिवार की उम्मीदों पर लिखी Best Hindi Poem on Life of Labor


Hindi Poetry on Life of Labor - मजदूर की जिंदगी पर कविता

सपनों को आकर जो देता,

देश को विकास जो देता,

बोझ कन्धों पर रहे हमेशा,

पर कर्म करने से कभी न डरता।


जिंदगी मुश्किल भले हो,

कभी न रुकता, कभी न झुकता,

जरूरतें चाहे हो जितनी,

अपनी मेहनत से सपनों को साकार है करता।


बेहरूपी को इनाम मिले यहाँ,

मेहनत को सम्मान नहीं,

इज्जत उसको मिलती है

जिनके कपड़ों की सान बड़ी।


सर्दी, गर्मी, या हो बारिस,

मुझको हर ऋतु एक सी है,

काम पर ना जो एक दिन जाता,

उस दिन का पगार नहीं।


बढता हूँ, लड़ता हूँ खुद से,

संघर्ष भरा ये जीवन है।

कहने को सब काम में करता,

सम्मान भरे शब्दों से वंचित रहता हूँ।


समाज में मजदूरों को अपने अधिकारों व सम्मान के लिए हमेशा ही संघर्ष करना पड़ता है। ऐसा ही एक दिन मजदूर दिवस है, जब हम इन कर्मयोगियों का सम्मान करते हैं। परन्तु यह पूरा सच नहीं है, और यह Hindi Poem on Life of Labor उस सच को आपके सामने लाता है।


Hindi Poem Image on Life of Labor

Hindi Kavita on Life of Labor, Hindi Poetry on Life of Labor

यह Hindi Poem Image उन पाठकों के लिए विशेषकर बनायी गयी है, जो कविताओं को इमेज के रुप में पढना पसंद करते हैं। यदि कविता पसंद आये तो अपने विचार जरुर शेयर करें।

Hindi Kavita on Life of Farmer - किसान के जीवन की परेशानी, बदहाली, लाचारी, मेहनत ओर उम्मीदों पर कविता

आजकल हमारे देश में किसान आन्दोलन कर रहे हैं, और किसानों पर सभी राजनैतिक दल वर्षों से राजनीति करते आये हैं, पर शायद ही कोई उनके जीवन के बारे में सोचता होगा। किसान परिवार से नाता होने की वजह से किसानों के जीवन पर एक सच्ची कविता लिख रहा हूँ, जोकि राजनीति से कोई संबन्ध नहीं रखती है। पूरी कविता पढें, आपको जरूर पसंद आयेगी।


कविता का शीर्षक - मैं किसान हूँ, खुशहाली बाँट कर खाली हाथ रह जाता हूँ।


खुशहाली देश में लाता है,

हरियाली खेतों में लाता है,

फिर न जानें क्या होता है,

एक किसान जिंदगी की जंग हार जाता है।


मेहनत से जो नहीं डरता,

प्रकृति के संग जो जीता,

उम्मीद करने में क्या बुरायी है,

कि एक दिन मेहनत रंग लायेगी।


फिर जब फसल बेचने का दिन आता,

वो खिलोना मंडी का बन जाता,

इधर जाता उधर जाता,

और मजबूरी में घाटे का सौदा कर आता।


घर उसको भी चलाना है,

बच्चों को भी पढाना है,

सामाजिक जिम्मेदारी,

सौ जगहों पर जाना है।


महंगाई की मार पडती है,

मेरा भाई टूट जाता है,

जरूरत पूरी करने को,

साहूकार के जाल में फँस ही जाता है।


जिंदगी में पहले ही मुस्किल थी,

ये ॠण उसको खूब सताता है,

फिर एक दिन ऐसा आता है,

ये धरती का लाडला हार जाता है।

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Hindi Poetry on Life of Farmer, Hindi Kavita on Life of Farmer

किसानों की जिंदगी के संघर्षों पर लिखी कविता किसान परिवारों से जुङे सभी लोग जरूर समझ पायेंगे। मेहनत हम सभी करते हैं, पर फिर सिर्फ किसान ही क्यों गरीब होता चला जा रहा है। कविता से संबन्धित अपने विचार जरूर शेयर करें।

यह Hindi Kavita on Life of Child Labor उस बच्चे के जीवन को बँया करती है, जिसको पढनें व खेलनें की उम्र में बाल मजदूरी पर लगना पड़ जाता है। बाल मजदूरी को बहुत करीब से महसूस करके यहाँ पंक्तियाँ लिखी गई हैं, जो आप सभी ऐसे बच्चों की मदद करने के लिए प्रेरित करेगी।


Hindi Kavita on Life of Child Labor 

कविता का शीर्षक- जब कभी मैं सोचता हूँ

अकल कुछ ही तो आयी थी,

समझ अब भी ना आयी थी,

मैं जाता था काम करने क्यों,

जब उम्र थी पढाई की।


घर में माँ-बाबा भी रहते थे,

कहने को मैं सबसे छोटा था,

ये ऐसी कैसी बस्ती थी,

जहाँ बचपन नहीं आता था।


काम करना और घर आना,

ये भी कहाँ नसीब होता,

न जाने कब नशे से दोस्ती कर ली,

न जाने कब जिंदगी से दुश्मनी कर ली।


मैं नहीं चाहता था ये सब कुछ हो,

पर मेरी कौन सुनता था,

करता तो मेहनत था,

पर क्या ये मेरी उम्र थी काम करने की?


न किसी से बालपन रूठे,

न किसी से शिक्षा का अधिकार छूटे,

ऐसा हर कोई कहता है,

पर क्या ये सच में होता है?


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Hindi Poem on Life of Indian Village


यदि आप कविताओं को इमेज में पढना व शेयर करना पसंद करते है, तो हम बाल मजदूरी पर लिखी यह पूरी कविता इमेज में भी प्रस्तुत कर रहे हैं।

Hindi Kavita on Life of Child Labor, Hindi Poetry on Life of Child Labor

आशा है कविता आपको एक नया दृष्टिकोण प्रदान करेगी, अपने विचार व अनुभव जरूर शेयर करें।


एक बहुत ही दिल को स्पर्श करने वाली हिन्दी कविता उम्मीदों के ऊपर लिखी गई है। Hindi Poem on Hope हमको भविष्य के लिए Inspire भी करती हैं, और हमारे लक्ष्य निर्धारित करने में सहायता भी करती हैं। प्रस्तुत है यह कविता।

Hindi Poetry on Hope - आशाओं पर हिन्दी कविता

तितलियों से पर निकलने लगे हैं, मेरी उम्मीदों के
देख पाता हूँ मैं अब, इस क्षितिज के पार भी।
रंगों से भरे जो यह मेरे पंख हैं,
जिंदगी के खट्टे-मीठे रंगों से हैं इनको रंगा।

पंख कितने ही हों छोटे
इससे नहीं अब कोई वास्ता।
उड़ने का हुनर है मुझमें
मंजिल मिलेगी, यह मुझे उम्मीद है।

उम्मीदों ने भरा है मुझमे
कुछ कर गुजरने का हौसला।
राह कोई भी हो,
कर ही लूँगा एक दिन फतह।

तितलियों से पर निकलने लगे हैं, मेरी उम्मीदों के
देख पाता हूँ मैं अब, इस क्षितिज के पार भी।

Poem on Hope in Hindi, Hindi Poem on Hope

यह Hindi Poem on Hope आपको पसंद आयी होगी और आपको इससे Motivation भी मिला होगा। आशाएँ हमको सफलता की ओर ले जाती हैं, जिसको हम निराशा के अन्धकार में अक्सर नही देख पाते हैं। हमारी सभी कविताएँ स्वरचित हैं।


प्रेरणादायक हिन्दी कविता उम्मीदो पर - Never Give Up Hope Hindi Poem

क्या खोजते हो दुनिया में,
जब सब कुछ तेरे अन्दर है।
क्यों देखते हो औरों में,
जब तेरा मन ही दर्पण है।

दुनिया बस एक दौड़ नहीं,
तू भी अश्व नहीं है धावक।
रुक कर खुद से बातें करले,
अन्तर मन को शान्त तो करले।

सपनों की गहराई समझो,
अपने अन्दर की अच्छाई समझो।
स्वाध्याय की आदत डालो,
जीवन को तुम खुलकर जीलो।

आलस्य तुम्हारा दुश्मन है तो,
पुरुशार्थ को अपना दोस्त बनालो।
जीवन का ये रहस्य समझलो,
और खुशीयों से तुम नाता जोड़ो।

Hindi Motivational Poem on Hope - प्रेरक कविता आशाओं पर


सपनों  का एक सागर है,
सागर में गहराई है,
कोई ना इसको नाप है पाया।

तेरे सपने तेरी मंजिल,
तुझको ही तय करनी है।
छोर मिलेगा उसको ही,
जिसने हिम्मत करली है।
तूफान यहाँ हैं पग-पग पर,
निराशा के हैं ज्वार बहुत।
तेरे सपने, तेरी हिम्मत है,
बदलेगा ये दुनिया तू।

आज निकलजा अन्धियारे में,
कल का सूरज तेरा है। 
सपनों के इस सागर में,
सपनों का एक जाल भी है।
ध्यान रहे तू अर्जन है,
एक लक्ष्य ही तेरा सब कुछ है।
लहरों से टकराना  है,
उनसे भी ऊपर उठ जाना है।
कल जो आने वाला है,
उसको अपना बनाना है।

आशाओं से भरी जिंदगी पर कविता - Hindi Poem on Life with Hope


मैंने गुरबत के दिनों में,
इधर देखा, उधर देखा,
पर अपने अंदर नहीं देखा|

छिपे थे मोती मुझ में,
पर अपने अंदर के समंदर को छोड़,
मैंने हर एक छोटी-बड़ी दरिया को देखा|

छुपी थी आशा की किरण मुझ में,
पर हर बार मैंने आसमा की ओर देखा|

मैंने समझाने वाले लोगों की ओर देखा,
पर जिस दिल को समझाना था, 
कभी उस और नहीं देखा|
Hindi Poem on Hope, Best Hindi Poem On Hope


कहीं एक बार फिर गिर ना जाऊं,
इस डर से मैंने ऊंचाइयों को नहीं देखा|

दौलत-शोहरत देखी मैंने लोगों की,
पर उनके जज्बे को नहीं देखा|

मैंने हर एक चीज देखी गुरबत के दिनों में,
पर अपने अंदर बहुत देर से देखा|

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वनीकरण पर कविता

आज के समय में Afforestation(वनीकरण) ही हमको ग्लोबल वार्मिंग जैसी विकट समस्या से बचा सकता है। यह सुन्दर हिन्दी कविता आपको वृक्षारोपण के लिए प्रेरित करेगी, और एक सामाजिक जिम्मेदारी का संदेश भी देगी।

गर्मी का जब मौसम आता
सूरज का चढता पारा
हम सबको है बहुत सताता।
पानी का स्तर तो देखो
सालों-साल गिरता है जाता।
बरसात का जब मौसम आता
तबाही का मंजर साथ में लाता।
आती है जब सर्दी फिर से
धूएँ की चादर शहरों पर चढ जाती।

रोज सोचता हूँ मैं घर में
इन सबसे हमें कौन बचाता।
जब धरती में लगता है एक नन्हा पौधा
कुछ सालों में पेड़ वो बनता।
नित शुद्ध हवा ये हमको देता
जो प्रदूषण से है लड़ता।
जब दोपहरी में धूप है चढती
तब हमको ये छाया देता।
आती है जब बाढ और आंधी
पहले वो इन पेड़ों से है टकराती।
जीते हैं ये पेड़ हमेशा
मानवता की रक्षा को।

कर्तव्य हमारा भी है बनता
हम मिल-जुल कर कुछ पेड़ लगायें।
वनीकरण को जीवन में अपनाना है,
वृक्षों की संख्या को बढाना है।
सारी समस्या हल होगी,
ग्लोबल वार्मिंग नही रहेगी।

ग्लोबल वार्मिंग सिर्फ समस्या ही नहीं है, यह हमारे आने वाले भविष्य के लिए एक बहुत बड़ा खतरा भी है। आशा है, Afforestation ( वनीकरण) पर लिखी यह कविता इस विषय पर सबसे अच्छी कविता लगे और आप इसको ज्यादा से ज्यादा बच्चों तक पहुँचायें। आपके परिवार में जितने भी सदस्य है उनके नाम से हर साल कम से कम एक वृक्ष जरूर लगायें। हमारी सभी कविताएँ स्वरचित होती हैं।

Hindi Poem on Afforestation
Picture Credit : Environment Buddy


Motivational Poem in Hindi काव्य संग्रह में हम Motivational Hindi Poem, Inspirational Hindi Poem, Hindi Poem on Positive Thinking, Hindi Poem on Hardwork, Hindi Poem on Self-believe, Moral Boosting Hindi Poem, and Hindi Poem on discipline के साथ साथ ऐसी अनेको स्वरचित(मौलिक) हिन्दी कविताएँ प्रकाशित करते रहेगें।

इस space में आपको हर माह नयी Hindi Motivational Poem पढने को मिलेंगी। आप Blog को जरूर follow करे, ताकि इस काव्य संग्रह की नयी अपडेट आप तक पहुँच सके। यह Motivational Hindi Poem आप Whats App व Facebook  status पर भी अपडेट कर सकते है।


Motivational Poem in Hindi - एक हिन्दी काव्य संग्रह  #1




क्या खोजते हो दुनिया में,
जब सब कुछ तेरे अन्दर है।
क्यों देखते हो औरों में,
जब तेरा मन ही दर्पण है।

दुनिया बस एक दौड़ नहीं,
तू भी अश्व नहीं है धावक।
रुक कर खुद से बातें करले,
अन्तर मन को शान्त तो करले।

सपनों की गहराई समझो,
अपने अन्दर की अच्छाई समझो।
स्वाध्याय की आदत डालो,
जीवन को तुम खुलकर जीलो।

आलस्य तुम्हारा दुश्मन है तो,
पुरुशार्थ को अपना दोस्त बनालो।
जीवन का ये रहस्य समझलो,
और खुशीयों से तुम नाता जोड़ो।

यह Inspirational Hindi Poem आपको आपके अन्दर छुपी अनन्त संभावनाओं के बारे में बताती है। साथ ही यह भी बताती है, जिंदगी का लक्ष्य सिर्फ सफलता ही नहीं है, बल्कि एक खुशहाल जीवन जीना है।  Motivational Poem in Hindi के इस काव्य संग्रह में यह most Famous Hindi Poem है। 

Motivational Poem in Hindi - एक हिन्दी काव्य संग्रह  #2

जीवन में दुख भी आने हैं,
और आके एक दिन जाना है।
जब समय चक्र बदल जाये,
पल में सब काम बिगड़ जाये।
धोका अपनों से मिल जाये,
हर ओर संकट के बादल छा जाये।

तब बन्द करो तुम आँखों को,
कुछ पल खुद में खो जाओ।
शक्ति बजरंग बली से है तुम में,
उस शक्ति का तुम ध्यान करो।

श्रीराम को भी वनवास हुआ,
पर धैर्य को संग में साधा था।
फिर समय का पहिया घूमेगा,
लक्ष्यों पर केन्द्रित ध्यान करो
और बाणों का संधान करो।
बुरे समय से जो कुछ सीखा है,
उन बातों का सम्मान करो।

तुम उठो वीर स्वाभीमानी से,
तुम चढो सफलता की सीढी।
अडिग रहे जो तुम विपरीत काल में,
अब उसके फल का स्वाद चखो।
हर युग में नायक बनते हैं,
इस युग के तुम नायक हो।
समय चक्र तो चलता है,
तुम हर समय का सम्मान करो।

जिन्दगी में सबसे ज्यादा हत्तोसाहित हम तब हो जाते है जब संकट में घिरे होते है। यह Motivational Poem in Hindi ऐसे समय में ऊर्जा का संचार करने के लिए लिखी गई है।

Motivational Hindi Poem, Inspirational Hindi Poem

Motivational Poem in Hindi - एक हिन्दी काव्य संग्रह  #3

कर्मपथ पर तुमको बढना है वीरों जैसा,
राह में मुश्किल आनी है,
धीरज हो मुनियों जैसा।
ठोकर लगनी निश्चित है,
तुम तब भी अडिग रहो पर्वत जैसे।
चाहे शेर जैसा प्रतिद्वन्दी हो,
तुम निडर रहो योद्धा जैसे।

पुरूषार्थ को तुम साधलो,
दिन हो या रात हो,
चाहे ना कोई साथ हो,
तब भी नदी से तुम अविरल बहो।

संकल्प की मजबूत एक डोर हो,
जिससे तुम बन्धे रहो।
ज्ञान को तुम सहेज लो,
उग्र तुम बनो नहीं।

कर्म योनी में जन्म लिया,
कर्म योगी बने रहो।
लक्ष्य पर बने रहो, 
लक्ष्य भेदते रहो।

सतत् बहुत सी Famous Hindi Poem Motivation और Inspiration के लिए लिखी जाती है। इन मौलिक हिन्दी रचनाओ के माध्यम से हम उन विषयों को छू रहे हैं जो नये हैं, और आप जिस भी फोरम पर इन कविताओं को शेयर करेंगे, सभी आपको सराहेंगे।


Motivational Poem in Hindi - एक हिन्दी काव्य संग्रह  #4

सपनों  का एक सागर है,
सागर में गहराई है,
कोई ना इसको नाप है पाया।

तेरे सपने तेरी मंजिल,
तुझको ही तय करनी है।
छोर मिलेगा उसको ही,
जिसने हिम्मत करली है।
तूफान यहाँ हैं पग-पग पर,
निराशा के हैं ज्वार बहुत।
तेरे सपने, तेरी हिम्मत है,
बदलेगा ये दुनिया तू।

आज निकलजा अन्धियारे में,
कल का सूरज तेरा है। 
सपनों के इस सागर में,
सपनों का एक जाल भी है।
ध्यान रहे तू अर्जन है,
एक लक्ष्य ही तेरा सब कुछ है।
लहरों से टकराना  है,
उनसे भी ऊपर उठ जाना है।
कल जो आने वाला है,
उसको अपना बनाना है।

यह Motivational Poem in Hindi दृढता से अपने सपनों को पूरा करने के विषय मे लिखी गई है। सपनें हम बहुत से देखते है, परन्तु एक लक्ष्य होना बहुत ही आवश्यक है। यह हिन्दी कविता इसी सकारात्मक सोच को दर्शाती है।

Motivational Poem in Hindi - एक हिन्दी काव्य संग्रह  #5

वक्त है बदल जायेगा,
कल का सूरज नया जोश लायेगा।
हालतो से लड़ रहे हो भले,
कल यह दिन भी बदल जायेगा।

जिंदगी यूँही रंग बदलती रहेगी,
आज का बनाया, कल खो जायेगा।
जो मन में रहेगी आशा,
तो हर पल मुस्करायेगा।

जो खोया था कल में,
वह भी खोज लायेगा,
जुड़ने, बिखरनें से फिर तू ना घबरायेगा,
सफलता-असफलता सभी को अपनायेगा.

आगे हे बढना, बढते ही जाना,
राहो की ठोकर से कभी न घबराना।
धूप और छाव आते जाते रहेगें,
संकल्प पथ से तनिक ना भटकना।
संकल्प पथ से तनिक ना भटकना।।

हमारी सफलता में जितना योगदान हमारी योग्यताओ का होता है, उतना ही प्रभाव हमारी सोच व संकल्प सकती का भी होता है, आशा हे कि आप इस मोटिवेशनल कविता को आत्मसात करेगें.

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Motivational Hindi Poetry | "Ramdhari Singh Dinkar" "Harivansh Rai Bachchan" | Manoj Muntashir



Hindi Motivational Poem : सब जाग रहे तू सोता रह ,किस्मत को थामे रोता रह :Written By Kavi Sandeep Dwivedi




ऐसी आशा है यह Motivational Hindi Poems का संग्रह हमारे सभी पाठकों को पसंद आयेगा। आप भी अपने विचार हमारे साथ Comment Box में शेयर जरूर करें। इस Space के साथ जुङे रहने के लिए Blog को आप Follow या Subscribe by Email कर सकते है, ताकि आने वाले महीनो में प्रकाशित होने वाली नयी Motivational and Inspirational Hindi Poems आप तक पहुँच सके।

Best Hindi Poem for kids एक कविताओं का संग्रह है, जिसमें आपको अपने बच्चों के लिए different genres (Educational, Funny, Motivational, etc) की Hindi Poems के साथ-साथ बच्चो के लिए भरपूर मनोरंजन भी मिलेगा। साथ ही साथ Images भी हर कविता के साथ दी गई है, जिनको आप अपने smartphones में save भी कर सकते है। हमारी सभी कविताएँ मौलिक  है।


Short Hindi Poem for Kids

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Hindi Poem for Kids, बच्चो की कविता

चिड़ियाँ हमें जगाती हैं,
रोज सुबह उठ जाती हैं।
फिर वो दाना चुगनें जाती हैं,
समय समय पर घर आती हैं।
अपने बच्चों को दाना भी खिलाती हैं,
तिनका बीनकर घोसला बनाती है।
फिर शाम ढले नित्य एक समय से
सोने को वो जाती हैं।

इस Educational Hindi Poem for Kids से आप बच्चो को सिखा सकते है कि जिदंगी में अनुशासन को कैसे अपनाये। बच्चों को चिड़िया बहुत पसंद होती है, इसलिए ऐसी Hindi Poem बच्चों पर बहुत असर करती है।
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Desh Bhakti Poem in Hindi for Kids

भारत देश का नाम है,
तिरंगा झंडा इसकी शान है।
अलग-अलग हैं बोली-भाषा,
कहीं पहाड़, तो कहीं मैदान हैं।
बहुत बड़ा है देश हमारा,
परम्पराओं पर हमको अभिमान है।
अनेकता में एकता,
यही हमारा संविधान है।

Desh Bhakti Poems in Hindi for Kids से बच्चों को रोचक अंदाज में देश भक्ति की भावना जाग्रित होगी और हमारी विरासत के प्रति लगाव बढेगा। हमारे संविधान और देश अनेकता में एकता के पाठ के लिए जाने जाते हैं, यह बात बच्चो को जरूर सिखायें।
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Motivational Hindi Poem for Kids

नदी के जैसे सरल बनो,
पर्वत से तुम अडिग रहो।
सूरज जैसी आभा वाले,
चंदा जैसे शालीन बनो।
करो उपकार वृक्ष के जैसे,
परिश्रम करो तुम चींटी जैसा।
यह छः बातें जो तुम अपनाओ,
जग में ऊँचा नाम कमाओ।

Motivational Hindi Poem for Kids यह हिन्दी कविता बच्चों को प्रकृति व हमारे आस पास की चीजों से सीखने के लिए प्रेरित करती है। हमारा लक्ष्य भी यही है कविता के माध्यम से बच्चों को ऐसे उदाहरण दे जिनको वो देख-परख सकते है।
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Hindi Rhymes, Hindi Poem, Kids Poem

बच्चो तुम हो प्यारे-प्यारे,
जैसे होते है फल सारे।
सेब, अनार, पपीता खाओ,
जल्दी से सेहतमंद बन जाओ।
कैला, आम, तरबूज भी जो खाओ,
दिनभर की ताजगी पाओ।
संतरा, अंगूर, चीकू जो तुम खाओ,
मस्ती में फिर तुम खो जाओ।
ये सब फल मिलते हैं पेड़ों से,
फिर मिल-जुलकर सब पेड़ लगाओ।

इस Short Hindi Poems for Kids में Rhymes की मदद से बच्चों को फलों की जानकारी भी मिलेगी और पेड़ों के प्रति भावनात्मक लगाव बढेगा, और बच्चे जो फल पसंद करने लगते हैं उनको आसानी से खाते भी हैं।
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Educational Hindi Poem for Kids

होली है रंगो का त्यौहार,
ईद में सबको गले लगाओ,
राखी में मिलता है बहिनों का प्यार,
आयी दीवाली दीये जलाओ,
क्रिसमस पर खुशियाँ फैलाओ,
मिलकर सब त्यौहार मनाओ।

Educational किड्स पोएम हिंदी हमारे त्यौहारों के भाव को समझाती है। अनेकता में एकता की सदभावना  बच्चों में जरूर बनायें।
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Hindi Poems For Kids, हिन्दी कविता

प से पापा, म से मम्मी,
पापा- मम्मी रोज हमें जगाते है।
द से दादा- दादी,
गोदी मे घुमाते है।
न से नाना-नानी,
प्यार दुलार जताते है।
और घर में हैं जो अन्य सदस्य
 हमको खूब खेल खिलाते हैं।

छोटे बच्चों को हिन्दी कविताओं में रिस्तों को समझायें। Kids को Hindi Rhymes में समझाना ज्यादा आसान होता है।
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Hindi Poem for Kids, हिन्दी कविता बच्चो के लिए

A B C D E F G
दूध की बोतल मजे से पी
H I J K L M N
नित्य कर्म फिर करते हम
O P Q R S T
बड़ों की बातें मानो जी
U V W X Y Z
ऐसे ही सब कुछ सीखो जी।

Short Hindi Poem for Kids एक बेहतरीन पहल है बच्चों को सब कुछ आसानी से सिखाने की। इस तरह की Rhymes में आप अपने शब्द जोड़कर भी बच्चों को सिखा सकते हैं।
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Funny Hindi Poem for Kids, काव्य संग्रह

एल्फा, बीटा, गामा,
मम्मी बोलती है
क्या कर रहे हो मेरे कान्हा।
H2 माने हाइड्रोजन,
O2 माने ऑक्सीजन,
जब मिलते हे ये दो यार,
बनाते है ये पानी(H2O)

Funny Poem for Kids यह एक सोच को विकास करने की कोशिश है कि कैसे हम हिन्दी कविताओं में भी बच्चो को नये विषयो में रूचि जगा सकते हैं। ये थोडा Funny Poem भी हैं इसीलिए बच्चे कठिन शब्द भी बोलना सीख जाते व साथ में mental growth( मानसिक विकास)है।
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Hindi Poem for Kids Collection

डाॅक्टर अंकल जब भी आते,
सुई दिखाकर हमें डराते।
फिर प्यार से हमको वो सहलाते,
और बातों-बातों में सुई लगाते।
थोड़ा हँसाते, थोड़ा रूलाते,
हमको सेहतमंद बनाते।

हम बच्चों को सुई का नाम लेकर डराते रहते है, उसी भाव को इस बच्चों की हिन्दी कविता में दर्शाने की कोशिश की है। उम्मीद है कि आपको पोएम फॉर किड्स इन हिंदी की सभी कविताएँ पसंद आ रही होंगी। इन कविताओं को ज्यादा से ज्यादा शेयर जरूर करें।
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Funny Poem for Kids, Hindi Funny Poem for Kids

हाथी राजा मस्त मलंगी,
पर चींटी से वो डरते है।
पानी में नहाते हैं, 
बच्चों को खूब भाते हैं।
सून्ड है इनकी बडी ही प्यारी,
जो बच्चों को लुभाती है।
गन्ना इनको बहुत पसंद है,
बच्चों को हँसाते हैं।

ज्यादातर बच्चों को हाथी बहुत पसंद होता है, यह Poem for Kids in Hindi इसी एहसास पर लिखि गई है।
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हमारी पसंद के कुछ Youtube Links शेयर कर रहे है, जो आपके बच्चो को जरूर पसंद आयेगी। यह हमारे द्वारा बनायी गयी Videos नही है, पर हमे आशा है ये हिन्दी कविताये भी आपके बच्चो को पसंद आयेगी।

बच्चो को खुश करने वाली बेमीशाल विडियो कविता


चिङीया रानी की शानदार कविता बच्चो के लिए



हमने सभी हिन्दी कविताओं को बहुत कम पंक्तियो में लिखने की कोशिश की है, ताकि बच्चे समझ व याद रख सके।उम्मीद है यह Hindi Poem for Kids Collection आपको पसंद आया होगा। कमेन्ट बॉक्स में लिख कर जरूर बतायें व अधिक से अधिक शेयर करें।

साथ ही हमारा एक काव्य संग्रह Childhood Poem in Hindi को भी आप पढ सकते हैं, यह हिन्दी कविताएँ बचपन की यादों पर आधारित है।



जब भी देखता हूँ तुम्हें,
अपने बचपन में खो जाता हूँ।
जो याद नही बातें,
तुम्हें देखकर वो यादें बनाता हूँ।


जब सीखा था तुमने चलना,
मैं अब कुछ वैसा ही लङखङाता हूँ।
जैसे हँसते हो तुम हरदम,
वैसे ही सामने दर्पण के मैं भी हँसता रहता हूँ।

Childhood Poem Image, Hindi Poem On Childhood

सोचता हूँ सब कुछ ऐसा ही रहा होगा,
जैसा तुमको करते देखता हूँ।
जो बातें तुमको शायद याद न रहे,
उनको कैमरे में कैद करता रहता हूँ।

नौनीहाल होना कितना सुकुन भरा होता है,
फिरसे तुम जैसा काश मैं बन पाऊ।
तुम रोते हो, कभी गुस्सा होते हो,
फिर एक पल में भूलकर सब,
सीने से मेरे लग जाते हो।

हर पल प्यार जताते हो,
जो याद नहीं मुझको,
मुझे वो सब खुली आँखों से हर रोज हमें दिखाते हो।

Childhood Memories, Childhood Play और दोस्तो के किस्से, न जाने ऐसे कितने एहसास हैं जिन पर मौलिक कविताएँ लिखि जा सकती है। निचे कुछ और हमारी स्वरचित हिन्दी कविताएँ बचपन (Hindi Poem on Childhood)पर हैं, आपको पढकर जरूर अनन्द की अनुभूती मिलेगी।

मैं अलविदा कहता हूँ

एक वक्त तो आना था,

जब कभी न कभी,

हमको कुछ चीजों से दूर हो जाना था।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन यादों को

जो मुझे कल में बान्धें रखती है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन बातों को,

जिसमें बस मैं ही मैं रहता हूँ।

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मैं अलविदा कहता हूँ,

रिस्तों की उन जंजीरों को,

जो भीष्म बन जाने को कहती हैं।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन विचारों को,

जो मुझे हर वक्त मौन बनाये रखती हैं।


एक वक्त तो आना था,

जब कुछ बातों पर 

प्रश्न चिह्न लग जाना था।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन अनसुलझे सवालों को,

जिनको मन को ही सुलझाना है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

हर रोज की तू-तू, मैं-मैं को,

जिसका अंजाम रुलाना होता है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन दोस्तों को

जिनका साथ बस मतलब भर का होता है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन आदतों को

जिनका मैं हूँ गुलाम बना।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उस सुकून को

जो किसी के दर्द से पैदा होता है।


एक वक्त तो आना था

जब कुछ बातों से

हमको ऊब जाना था।


मैं अलविदा कहता हूँ,

हर उस लोक लुभावन चीजों को

जिसने कल ही गुम हो जाना है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उस दौङ को

जिसमें मुझे अकेले आगे निकल जाना है।


मैं अलविदा कहता हूँ,

उन सारी बातों को

जिनको पूरा करते करते

मैं खुद ही कहीं पीछे रह जाता हूँ।

जीने की जो परिभाषा है,

उसे ही भूल सा जाता हूँ।

 अधर्म चाहे बलवान हो,

या धनवान,

या रावण जैसा सामर्थवान,


हर युग में आता है कोई राम सा,

सरलता जिसकी हो पहचान,

न किसी बात का हो अभिमान,

मर्यादाओं का हो जिनको ज्ञान।

Dusserha Greeting, Happy VijayaDashmi

हर युग में संग ही चलते हैं,

कभी धर्म प्रबल तो,

कभी अधर्म प्रबल।


अधर्म बलशाली जब हो जाता है,

तब हर युग में आ जाते हैं कोई बनकर राम,

कर देता है अन्त अधर्म का,

और बन जाता है वहाँ भगवान।


सभी पाठकों को दशहरा (विजयादशमी) की शुभकाभनाएँ।


Women Empowerment Poem on Navratri - नवरात्रि में नारी शक्ति तुम्हे प्रणाम

 हे नारी,

          तुम नौ दुर्गा हो।

तुम नौ रूपों की स्वामीनी हो।

आदि शक्ति हो,

                    अष्ट शक्ति हो।

इस दुनिया की संचालक हो।

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क्यों सोचती हो कुछ मुश्किल है,

                     क्यो सोचती हो ये ना कर पाओगी।

किस बात से तुम यूं डरती हो,

                      क्यो कुंठाओ में फस बैठी हो।


तुम कर्म योगीनी,

                      सहनशील हो,

तुम हर संकट का हल कर सकती हो।

                       धैर्य तुम्हारा बङा शस्त्र है,

हर मुश्किल से तुम लङ सकती हो।


करुणा का तुम सागर हो,

                        हर दिल मे घर कर जाती हो।

जब होती तुम क्रोधित हो,

                        हर पापी में डर से कम्पन्न होती है।


विश्वास करो खुद की शक्ति पर,

                        हर शक्ति कि स्रौत हो तुम।

तुम अबला कैसे हो सकती हो,

                       जब सबको तुमनें ही संभाला है।


विश्वास करो, हर रूप में तुम,

                        इस दुनिया को चलाती हो।

माता, बेटी या हो पत्नी,

                        हर रूप मे तुम माँ दुर्गा का रूप कहलाती हो।


ये श्रृष्टी है तुम से,

                       प्राणदायनी ऊर्जा तुमसे,

हर जगह वास तुम्हारा मंगलकारी है।

                       करते हैं हम नमन तुम्हे,

तुम हर रूप मे हम सबकी पालनहारी हो।



Hindi Poem on Disaster on Mountains Due to Construction Work - पहाड़ो पर हो रहे निर्माण व उसके परिणाम

इन पहाङी वादियो में धूल सी क्यों छा गयी,

यह विकास की आंधी कैसी आयी है।

दरक रहे हैं न जाने कितने हिस्से मेरे पहाङ के,

ये टूटते पत्थर, फिसलती मिट्टी, न जाने कब कहर बन जायेगी।


प्रकृति को प्रकृति ही जुदा करने की

किसने यह तरकीब बनायी है।

सङकों के माया जाल में,

हम बन बैठे अनजान हैं।


ये कल-कल करती नदियाँ, 

हर पल गिरते झरने,

और पुराने बजारो की रौनक,

कहीं गुम होते जा रहे हैं।

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वो सूरज का ढलना, पहाङो में छिपना,

धूल की चादर में सिमटता जा रहा है।

चिङियों का चहकना, नदियों का कल-कल,

मशीनी आवाजों से दबता जा रहा है।


फिर आती है वर्षा, करती है तांडव,

मंजर तबाही का हमको है दिखाती।

रुलाता है हमको हर छोटा नुकसान अपना,

पर पेङों का कटना, बेघर जानवरों का होना,

क्यों नहीं हमको हे रुलाता।


जिन्दगी जीने का मायना बदला है हमने,

हर जगह मोल- भाव करते हैं यूँ ही।

विकास की आँधी चली कुछ इस कदर है,

भूल जाते हैं हम, हमको इसी प्रकृति ने है बनाया।


संजोयेंगे हम तो, प्यार करती रहेगी,

बिखेरेंगे हम तो, सन्तुलन वो खुद है बनाती।

इंतजार क्यों उस दिन का है करना,

जब बनना पड जाये मूकदर्शक हमको।

यह हिन्दी कविता Social Issue पर लिखी गी है, आतंकवाद सिर्फ एक अन्तर्राष्ट्रीय समस्या ही नही है, यह एक सामाजिक समस्या भी है।ऐसा ही दर्द यह कविता भी बया करती है।

सिमट रहा मॉ के आचल में,

कुछ डरा सा इस जन्नत का लाडला।

डर मौत से किसको यहाँ,

डरते है इस बात से, कल होगा क्या यहाँ।

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कौन अपना है और कौन पराया,

समझ मैं कैसे बनाऊ।

क्या सच है, क्या झूठ,

ये कैसे खुद को समझाऊ।


बिक रहा है, डर बाजार में क्यो,

कौन कर रहा हे व्यापार इसका।

मेरा मजहब, मेरा देश या मेरा जमीर,

क्या मेरी असली पहचान है।


खो गया है एक धूल में,

खर्च हो रहा है फिजूल में।

एक साया काला आ गया,

आतंक हर घर में छा गया।

बचपन जैसे खो गया,

बुढापा बन गया अभिशाप है।


कौन आया वादियों में,

लेकर यह हथियार है।

बह रहा है खून मेरा,

इस तरफ हो या उस तरफ।


छिन गयी पहचान मेरी,

बन रही शमशान हूँ।

छा गया ये काला साया,

मैं अब भी हैरान हूँ।


आये कोई बनके ज्वाला,

चीर दे अन्धकार को।

लग गया जो आतंकी साया,

उसको दो हिस्सो में बाट दे।


आने लगे फिर रोशनी

प्यार और विश्वास की।

देख लू इन वादियो को फिर से,

जैसा देखा था कभी।


नेचर पर कविताएँ

बचपन की यादों पर कविताएँ